जिला अस्पताल बौराड़ी का आयुष विंग बना आधुनिक चिकित्सा और आयुर्वेद का सफल संगम
जिला अस्पताल बौराड़ी का आयुष विंग बना आधुनिक चिकित्सा और आयुर्वेद का सफल संगम

टिहरी । जिला अस्पताल बौराड़ी का आयुष/आयुर्वेदिक विंग पहाड़ में स्वास्थ्य सेवाओं का एक विश्वसनीय केंद्र बनकर उभर रहा है। यहां आधुनिक चिकित्सा सुविधाओं के साथ आयुर्वेद, पंचकर्म और योग का संगम मरीजों को बेहतर और सुरक्षित उपचार उपलब्ध करा रहा है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी और जिलाधिकारी टिहरी गढ़वाल नितिका खण्डेलवाल के निर्देशन में जनपद में स्वास्थ्य सेवाओं के उन्नयन के प्रयासों का यह विंग एक महत्वपूर्ण उदाहरण बन गया है।
वरिष्ठ चिकित्साधिकारी (आयुष) डॉ. सिद्धि मिश्रा ने बताया कि आयुर्वेदिक उपचार—शिरोधारा, जानू वस्ति, नस्य, नेत्र तर्पण, उप्नाह स्वेद, जलौक चिकित्सा, उद्वर्तन और मात्रा वस्ती—तनाव, माइग्रेन, जोड़ों तथा मांसपेशियों के दर्द में अत्यंत लाभकारी सिद्ध हो रहे हैं। अस्पताल में ECG जैसी आधुनिक डायग्नोस्टिक सुविधाएँ भी उपलब्ध हैं, जिससे उपचार और अधिक वैज्ञानिक तथा सुरक्षित हो जाता है।
आयुष विंग में वर्तमान में 6 डॉक्टर तैनात हैं, जिनमें से 2 विशेषज्ञ सप्ताह में तीन दिन मरीजों को सेवाएँ देते हैं। मरीजों की बढ़ती संख्या इस विंग की लोकप्रियता और भरोसे का प्रमाण है।
OPD मरीज: 2020–21 में 8,397 से बढ़कर 2024–25 में 16,948
पंचकर्म मरीज: 2020–21 में 426 से बढ़कर 2024–25 में 1,425
अस्पताल में स्वास्थ्य सुधार के लिए साप्ताहिक योग कक्षाएँ भी आयोजित की जाती हैं, जिनमें प्रतिदिन 15–20 मरीज भाग लेते हैं। मरीजों की प्रकृति के अनुसार विशेष हर्बल तेल और उपचार विधियाँ तैयार की जाती हैं, साथ ही डॉक्टर उन्हें जीवनशैली, आहार और योग पर भी मार्गदर्शन प्रदान करते हैं।
आयुर्वेदिक उपचारों, पंचकर्म और योग के बढ़ते प्रभाव से जिला अस्पताल का यह आयुष विंग आज टिहरी गढ़वाल में आधुनिक चिकित्सा और परंपरागत आयुर्वेद का मजबूत और विश्वसनीय केंद्र बन चुका है।



