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ग्रिंडर ऐप की दोस्ती ने ली जान: नाबालिग की हत्या का सनसनीखेज खुलासा, आरोपी गिरफ्तार, पढ़कर आप भी रह जाएंगे हैरान

ग्रिंडर ऐप की दोस्ती ने ली जान: नाबालिग की हत्या का सनसनीखेज खुलासा, आरोपी गिरफ्तार, पढ़कर आप भी रह जाएंगे हैरान

टिहरी जिले में एक दिल दहला देने वाले मामले का खुलासा हुआ है, जिसमें 17 वर्षीय नाबालिग की निर्मम हत्या का आरोप सामने आया है। इस मामले में आरोपी गणेश सिमल्टी (उम्र 25 वर्ष) ने पुलिस के सामने कबूल किया कि उसने ग्रिंडर गे डेटिंग ऐप के जरिए दोस्त बने एक नाबालिग लड़के की हत्या कर दी। पुलिस की टीम ने सीसीटीवी फुटेज, मोबाइल डिटेल और अन्य जांच के जरिए अपराध का पर्दाफाश किया।

 गायब था नाबालिग बेटा, माँ ने दी पुलिस को सूचना

दिनांक 10 अक्टूबर 2024 को चौकी तपोवन में नाबालिग की माँ पुष्पा देवी ने अपने बेटे के दो दिनों से लापता होने की सूचना दी थी। माँ की शिकायत पर तुरंत कार्रवाई करते हुए थाना मुनिकीरेती पर मामला दर्ज किया गया और जाँच अधिकारी को नियुक्त किया गया। वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक के निर्देशानुसार नाबालिग की खोज के लिए पाँच टीमों का गठन किया गया, जिनमें से एक टीम ने सीसीटीवी फुटेज की जाँच की, तो दूसरी ने मोबाइल की लोकेशन ट्रेस की।

सीसीटीवी फुटेज ने खोला राज, संदिग्ध के चेहरे पर बंधा था रुमाल

जाँच के दौरान सीसीटीवी फुटेज में नाबालिग को एक अज्ञात युवक के साथ जाते हुए देखा गया। फुटेज में संदिग्ध ने पहचान छिपाने के लिए अपने चेहरे पर रुमाल बांध रखा था। मोबाइल रिकॉर्ड्स की छानबीन से गणेश सिमल्टी नामक व्यक्ति की पहचान हुई, जो दो साल पहले अपने पते पर रह रहा था। पुलिस टीम ने उसकी लोकेशन को ट्रैक किया और सीपैट कॉलेज में काम करने की जानकारी मिली, जहाँ वह पिछले कुछ दिनों से नहीं आ रहा था। आखिरकार, पुलिस ने उसे उसके घर से गिरफ्तार कर लिया।

ब्लैकमेल के डर से किया हत्या का षड्यंत्र

गणेश ने पुलिस पूछताछ में बताया कि ग्रिंडर ऐप पर उसकी नाबालिग से दोस्ती हुई थी और वह उसे बदनाम करने की धमकी दे रहा था। धमकी से परेशान होकर गणेश ने नाबालिग को जानकी पुल के पास बुलाकर नीलकंठ रोड के जंगल में ले जाकर पत्थर से वार कर उसकी हत्या कर दी। घटना के बाद उसने पीड़ित का आईफोन और स्मार्टवॉच अपने पास रख ली।

मौके से बरामद किए साक्ष्य और गिरफ्तारी

आरोपी की निशानदेही पर पुलिस ने घटनास्थल से पत्थर, पीड़ित के कपड़े और अन्य साक्ष्य बरामद किए। शव की पहचान पीड़ित के परिजनों ने की, जिसके बाद अभियुक्त के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 140(3), 103, 238 और पॉक्सो अधिनियम की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है। आरोपी को न्यायालय में पेश कर रिमांड पर लिया गया।

पुलिस टीम की सक्रियता से हुआ खुलासा

इस संवेदनशील मामले में पुलिस ने सराहनीय कार्य किया, जिसमें निरीक्षक रितेश साह और उनकी टीम ने आरोपी की पहचान कर उसे गिरफ्तार किया। पुलिस की तत्परता और सघन जाँच के चलते एक जघन्य अपराध का खुलासा हुआ है, जिससे पीड़ित परिवार को न्याय मिल सकेगा।

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